Visfot Hindi Review : साल 2012 में वेनेजुएला में Rock Paper Scissors नाम की एक फिल्म रिलीज हुई। हॉरर ड्रामा इस फिल्म को ऑस्कर में वेनेजुएला की तरफ से बेस्ट विदेशी भाषा के लिए नॉमिनेट भी हुई। 

Visfot Hindi Review : दो फ्रेम वाली कहानी 

इस फिल्म पर अब हिंदी में रीमेक बनाया गया है। इसका टाइटल Visfot है। इसे हाल ही में जियो सिनेमा पर रिलीज किया गया है। फिल्म में Fardeen Khan और Riteish Deshmukh लीड रोल में हैं। 

फिल्म की कहानी में दो फ्रेम से दिखाई जाती है। पहला फ्रेम शोएब यानी फरदीन खान का है। जो पढ़ा-लिखा और ईमानदार है और गुजर बसर के लिए बॉम्बे में टैक्सी चलाता है। वह अपनी बीमार मां Sheeba Chaddha के साथ रहता है।

शोएब लकी यानी Krystle Dsouza से प्यार करता है जो एक कैफे में काम करती है। एक दिन शोएब की मुलाकात बचपन के दोस्त से होती है। जो उसे ड्रग्स छुपाने के लिए कहता है। 

Visfot Hindi Review : फ्रेम एक हो चुका है

दूसरा फ्रेम आकाश यानी रितेश देशमुख की तरफ घूमता है। जो पेशे से पायलट है। अपनी पत्नी तारा यानी Priya Bapat और बेटा पब्बी यानी Prithviraj Sarnaik के साथ रहता है। 

एक दिन आकाश अपनी पत्नी के एक्स्ट्रा मैरिटल अफेयर के बारे में पता लगता है। इसी बीच कहानी में उबाल आता है और पब्बी शोएब के घर पहुंच जाता है। 

किन्हीं कारणों के चलते शोएब को पब्बी के बदले आकाश और तारा को पैसों के लिए ब्लैकमेल करना पड़ता है। आखिर इसके पीछे क्या वजह है और ये सब ड्रग से कैसे जुड़ा जानने के लिए फिल्म देखनी चाहिए। 

Visfot Hindi Review : स्क्रीनप्ले शार्प और पेस वाला

फिल्म हाई क्लास और लोअर क्लास के कन्फ्लिक्ट्स को एक साथ दिखाती है। ये फिल्मों के लिए नया नहीं है लेकिन फिल्म ट्रीटमेंट इस नया बना देता है। बताते हैं कैसे। 

Visfot का स्क्रीनप्ले शार्प और फास्ट पेस वाला है। पहले हाफ में एक के बाद एक आने वाले ट्विस्ट दर्शक को बांधकर रखने का काम करते हैं। 

हालांकि दूसरे हाफ में स्क्रीनप्ले थोड़ा सा फिसलता है लेकिन क्लाइमैक्स की तरफ बढ़ने वाला ड्रामा ऑडियंस को फिर से बांध लेता है। हालांकि आखिर में जाकर कहानी प्रिडिक्टेबल हो जाती है। लेकिन इससे पहले तक फिल्म एवरेज से आगे निकल चुकी होती है। 

Visfot Hindi Review : राइटिंग में लूपहोल्स हैं 

फिल्म की सिनेमेटोग्राफी बढ़िया है। मुंबई की डार्क साइड को दिखाने में सफलता मिली है। डायरेक्टर Kookie Gulati का काम अच्छा है। डायलॉग और म्यूजिक भी ठीक-ठाक है। 

हालांकि फिल्म की राइटिंग में काफी लूपहोल्स नजर आते हैं। फिल्म में कई प्लॉट बिल्ड किए गए हैं लेकिन उन्हें अधूरा छोड़ा गया है। एडिंग थोड़ी दिमागी हद से बाहर निकलने वाली है। इसके अलावा फिल्म की एडिटिंग में भी गुंजाइश दिखाई पड़ती है। 

Visfot Hindi Review : फरदीन की वापसी 

एक्टिंग के लिहाज से देखा जाए तो फरदीन बहुत समय बाद दिखें है,लेकिन उन्होंने शानदार वापसी की है। रितेश अपने रोल से न्याय करते हैं। सपोर्टिंग कास्ट का भी काम ठीक है। 

कुल मिलाकर फिल्म में क्राइम-डार्क थ्रिलर के लिहाज से हर चीज है लेकिन राइटिंग के लूप होल्स इसे परफेक्ट बनने से रोक देते हैं। 

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Thalavan Movie Hindi Review : क्राइम के साथ पुलिस की परतें खोलता थ्रिलर

Thalavan Movie Hindi Review

कहानी पुलिस महकमे में बेस्ड है। फिल्म पुलिस ऑफिसर जयशंकर यानी Biju Menon और  कार्तिक यानी Asif Ali से शुरू होती है। जयशंकर पुराना लेकिन इगो वाला पुलिस ऑफिसर है। वहीं कार्तिक थाने में ट्रांसफर होकर आया है।

बिल्ड अप के दौरान दोनों के बीच कॉन्फ्लिक्ट देखने को मिलता है। कहानी आगे बढ़ती है और जयशंकर के घर से एक डेड बॉडी मिलती है। जिसके मर्डर के इल्जाम जयशंकर पर लग जाता है।

इस केस की जांच की जिम्मेदारी कार्तिक को सौंपी जाती है। इसके बाद फिल्म का मेन प्लॉट में आती है। मर्डर मिस्ट्री सुलझाते हुए फिल्म आपसी कलह और डिपार्टमेंटल राइवलरी को स्क्रीन पर उतारती है। पूरी खबर पढ़ें…

Kill Hindi Review : एक्शन का अंधड़, लेकिन सिर पैर वाला

Kill Hindi Review

एक ट्रेन है जो तड़-तड़ाती हुई आगे बढ़ रही है। अगला स्टॉप मुगलसराय है जो कुछ घंटों बाद आएगा। इस ट्रेन में दो NSG कमांडो सवार है, वीरेश और अमृत। अमृत अपनी गर्लफ्रेंड को परिवार के बीच से भगा ले जाने के लिए ट्रेन में चढ़ा है।

ट्रेन में पैसेंजर्स के अलावा कुछ 35-50 लोग और चढ़े हैं जिनके हाथों में हथियार है। इसी गैंग का सरदार अपनी खुखरी निकाल कर एक पुलिस वाले के सिर में घोंप देता है। इसके साथ शुरू होती है ट्रेन में रॉबरी और खौफ का कत्लेआम। 

इस आग की लपटें जल्दी ही अमृत, उसके दोस्त, गर्लफ्रेंड तुलिका और उसके परिवार तक पहुंचती हैं। अमृत पहले तो अपने लोगों को बचाने के लिए लड़ाई करता है। पूरा रिव्यू पढ़ें…

Call Me Bae Hindi Review : मेकर्स का चैलेंज है, देख सको तो देख लो

Call Me Bae Hindi Review

सीरीज हाई क्लास की लड़की बेला चौधरी की कहानी है। बेला को उसका पति जिम ट्रेनर के साथ कॉम्प्रोमाइजिंग सिचुएशन में देख लेता है और घर के बाहर निकाल देता है।

पति के घर से निकलने के बाद बेला अपने पेरेंट्स के घर पहुंचती है। बेला का भाई उसके पति का बिजनेस पार्टनर ऐसे में वे उस साथ रखने से मना कर देते हैं लेकिन विदेश भेजने का ऑफर देते हैं।

इस ऑफर को ठुकरा कर बेला मुंबई चली जाती है। उसने सोशल मीडिया जर्नलिज्म किया है। यहां उसकी मुलाकात एंकर सत्यजीत सेन यानी Vir Das से होती है। पूरा रिव्यू पढ़ें…

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